क्या होगा आपका पत्रकार महोदय ??

यह चिट्ठा 27 मार्च 2007 को यहाँ प्रकाशित किया गया था। बहस का प्रारम्भ तो हुआ था, एक बहुत ही मासूम से सवाल से कि “पत्रकार क्यूं बने ब्लौगर” पर बहस बढ़ती गयी “दर्द बढ़ता गया ज्यों ज्यों दवा की” की तर्ज पर। इसी विषय पर बहुत लोगों के विचार आये। मैंने भी एक ‘मौजिया’… Continue reading क्या होगा आपका पत्रकार महोदय ??

पत्रकार यूँ बने ब्लौगर !!

यह चिट्ठा 22 मार्च 2007 को यहाँ प्रकाशित किया गया था। ब्लॉग की दुनिया बड़ी निराली है। जब आप विवादित हों तो आपको हिट्स भी मिलती हैं और प्रतिक्रियायें भी। जब आप एक भाव पूर्ण कविता लिखो तो आप को कोई नहीं पूछता -हां गिरिराज जी प्रशंसा करते हुए नाम के आगे प्रश्न चिन्ह जरूर… Continue reading पत्रकार यूँ बने ब्लौगर !!

तुम्हारे होने पर…..

यह चिट्ठा 22 मार्च 2007 को यहाँ प्रकाशित किया गया था। नैनीताल समाचार (जो कि श्री राजीव लोचन शाह द्वारा निकाला जाता है) के नये अंक में श्री मुकेश नौटियाल की यह कविता छपी है। श्री मुकेश नौटियाल की दूसरी बेटी का जन्म 1 फरवरी को हुआ है। बहुत सही स्थिति का वर्णन किया है… Continue reading तुम्हारे होने पर…..

बालक की अभिलाषा .

यह चिट्ठा 21 मार्च 2007 को यहाँ प्रकाशित किया गया था। चाह थी एक ‘सभ्य दुनिया’ में,कदम जब मैं बढ़ाऊं लोग मेरा प्रेम से स्वागत करें, और गीत गायें इन रास्तों पर चल चुके पहले कभी, वो ही मेरे पथ प्रदर्शक बन, गले अपने लगा लें चाह थी.. कोई जब उंगली पकड़कर,साथ मेरे यूँ चलेगा… Continue reading बालक की अभिलाषा .

बेमतलब की बात..!!

यह चिठ्ठा 19 मार्च 2007 को यहाँ प्रकाशित किया गया था । कल जब अपना चिट्ठा लिख रहा था तब ना तो मन में ये था- जैसा कि हमारे अग्रज (?) ने कहा, “वैसे, विवादों से शुरुआत करना अपनी तरफ ध्यान आकर्षित कराने का पुराना फंडा रहा है।“ – कि मैं किसी का ध्यान अपनी… Continue reading बेमतलब की बात..!!

आचार संहिता का अनाचार

यह चिठ्ठा 16 मार्च 2007 को यहाँ प्रकाशित किया गया था। जुम्मा जुम्मा दो ही दिन तो हुए थे हमें (मुझे) हिन्दी में चिट्ठा शुरु किये कि मसिजीवी का ये चिठ्ठा पढ़ा।(जबसे इंटरनैट पर चिठ्ठा पढ़ना प्रारम्भ किया काफ़ी लोगो को खुद को “हम” पुकारते देखा। तब समझ में नहीं आया कि मैं खुद को… Continue reading आचार संहिता का अनाचार

पहली पोस्ट

यह चिठ्ठा 16 मार्च 2007 को यहाँ प्रकाशित किया गया था । बहुत दिनों से सोच रहा था कि मैं भी Blogging (चिठ्ठाकारी) प्रारम्भ करूँ पर एक तो हिन्दी लिखने का सहज साधन उपलब्ध नहीं था, दूसरा ये भी भय था कि कही हिन्दी चिठ्ठाकारी के धुरुन्धर (लिंक दिया जा सकता था पर दे नही… Continue reading पहली पोस्ट